हमेशा चर्चा में रहने वाले देश के प्रधानमंत्री Narendra modi आजकल अपनी सुरक्षा को लेकर चर्चा में हैं. कहा जा रहा है कि Punjab में PM MODI की SECURITY में चूक हुई है. पीएम ने भी अपनी बातों को लच्छेदार बनाते हुए कह दिया कि ‘अपने सीएम का धन्यवाद कहना की मैं भटिंडा एयरपोर्ट तक जिन्दा लौट पाया’. अब पीएम मोदी ने तो अपनी बात कह दी लेकिन उन्होंने किसानों की बात नहीं सुनी। सिंघु बॉर्डर पर कृषि कानूनों के विरोध में धरने पर बैठे हुए मौत के मुंह में समा जाने वाले किसान मोदीजी से यही कह रहे हैं ‘मोदीजी आप तो जिन्दा लौट आए लेकिन मैं अपने घर जिन्दा नहीं लौट पाया । आप पंजाब से दिल्ली वापिस आ गए लेकिन मैं दिल्ली से पंजाब वापिस अपने घर नहीं जा पाया।
मोदीजी आप तो किसानों को रोकने में बड़े माहिर हैं. आप चाह लेते हैं तो वो दिल्ली नहीं आ पाते तो भला आपके सामने झंडे लेकर कैसे आ गए. आपने सिंघु बॉर्डर में कटीले तारों के बैरिकेट्स लगवाए थे न आपने पंजाब वाली सड़कों में भी वैसा ही क्यों नहीं किया। आपको तो अच्छे से पता है किसानों को कैसे रोका जाता है लेकिन आप नहीं कर पाए. आप नहीं कर सके क्योंकि आपको राजनीति करनी थी. हम अपने घर नहीं लौट लेकिन आप अपने घर वापिस लौट आए. हम नहीं चाहते हैं कि आपको खरोंच भी आए या फिर कोई आपकी तरफ आँख उठाकर भी देखें।
आप हमारे पीएम हो और देश की जिम्मेदारी है की वो आपको सुरक्षित रखे. लेकिन हमारे सुरक्षा की जिम्मेदारी आपकी थी और आपने मरने दिया। आपने कहा कि मेरे लिए थोड़े न मरे हैं वो. इतना घमंड आपके अंदर हमारे मर जाने के बाद भी. और आज रास्ते में चार लोग क्या आ गए पूरी दुनिया में डंका बजवा दिया।
पीएम की सुरक्षा एसपीजी करती है. पीएम मोदी की सुरक्षा इतनी टाइट है की परिंदा भी पर नहीं मार सकता है. कहीं जाना होता है तो एसपीजी बकायदा उस जगह का, आसपास के घरों का और आने जाने वाले रास्तों का अच्छे से मुआयना करती है. एक-एक चीज को अच्छे से देखा जाता है और फिर पीएम मोदी आगे की तरफ बढ़ते हैं. ऐसे में ये किसान बीच में कैसे आ गए ये सवाल सुरक्षाकर्मियों से पूछना चाहिए था. आखिर ऐसी कमी कहाँ रह गई कि जिस रास्ते पर प्रदर्शन हो रहा था उस रास्ते से ही पीएम मोदी का काफ़िला निकला।
क्या एसपीजी ने ठीक से लोकेशन की जानकारी नहीं ली थी, क्या गृह मंत्रालय की जिम्मेदारी नहीं बनती है. ये सवाल कोई नहीं कर रहा है. आप पंजाब के गृह मंत्री के साथ-साथ भारत के गृह मंत्री का भी इस्तीफ़ा मांगिए न क्योंकि पीएम की सुरक्षा उन्हीं की जिम्मेदारी होती है.
अंत में मोदीजी को हम किसानों की तरफ से बस इतना ही कहना है कि हम आपसे प्यार करते हैं नफरत नहीं, हम आपके सामने प्रदर्शन करेंगे अपनी मांगों के लिए लेकिन कभी आपको हानि नहीं पहुंचा सकते हैं.