
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रामलीला मैदान में रैली कर दिल्ली में भाजपा के चुनावी अभियान की शुरुआत की थी। नागरिकता कानून और एनआरसी की चर्चा के बाद प्रधानमंत्री मोदी सीधे दिल्ली में पानी के मुद्दे पर फोकस दिखे और पानी की सप्लाई से लेकर क्वालिटी तक का विस्तार से उल्लेख करते हुए पीएम ने मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की सरकार की खूब खिल्ली उड़ायी थी। आपको बता दें कि दिल्ली विधानसभा चुनाव 8 फरवरी को होने हैं।
नरेंद्र मोदी के बाद में भारतीय जनता पार्टी के अध्यक्ष अमित शाह मैदान में उतरे और दिल्ली की आम आदमी पार्टी की सरकार पर चुनावी वादे न पूरे करने का आरोप लगाया। अमित शाह के नक्शे कदम पर चलते हुए मनोज तिवारी ने भी तेवर तीखे कर लिये और हमलों में आक्रामक होने लगे। शुरू में तो अरविंद केजरीवाल खामोश से नजर आये और हल्के फुल्के ट्वीट में रिएक्ट किया लेकिन मनीष सिसोदिया ने CCTV को लेकर उठाये गये अमित शाह के सवालों पर सबूत ही दे डाले और मनोज तिवारी ने सब्सिडी को लेकर लंबे चौड़े वादे कर डाले तो, केजरीवाल ने न सिर्फ सवाल खड़े कर दिये बल्कि भाजपा की सरकारों को ही चैलेंज कर डाला।
5 साल बाद अरविंद केजरीवाल के नारे में भले ही मामूली तब्दीली हुई हो, लेकिन खुद उनका हाव-भाव और लहजा पूरी तरह से बदल गया है। वो हर कदम बहुत ही फूंक-फूंक कर रख रहे हैं और भाजपा के लिए उन्हें हल्के में लेना भारी भी पड़ सकता है। भाजपा के लिए तो सबसे बड़ा सबक यही है कि वो केजरीवाल और उनकी टीम पर हवाई हमले की जगह थोड़ा होम वर्क करने के बाद कोई बयान दे वरना, केजरीवाल जवाबी हमले के लिए हर वक्त तैयार बैठे हुए हैं।
प्रवेश वर्मा से केजरीवाल को बहस की चुनौती के साथ ही कुछ दिनों के लिए मुख्यमंत्री चेहरे पर सस्पेंस कायम करने के बाद अमित शाह ने दावा किया कि दिल्ली में भाजपा चुनाव जीत कर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में सरकार बनाएगी। अमित शाह ने बूथ स्तर पर भाजपा को आम चुनाव में मिले वोटों के आंकड़े पेश किये और मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को घेरना शुरू कर दिया। अमित शाह ने कहा कि जनता को झांसा कोई सिर्फ एक बार दे सकता है, बार-बार नहीं। एक बार केजरीवाल जी ने झांसा दिया तो, उसके बाद नगर निगम चुनाव में आप का सूपड़ा साफ हो गया। फिर तो केजरीवाल सरकार पर हमले का सिलसिला ही शुरू हो गया वाईफाई ढूंढते-ढूंढते लोगों की बैटरी खत्म हो जाती है, लेकिन वाईफाई मिलता ही नहीं है। कभी विज्ञापन देकर झांसा देते हैं तो कभी दूसरों के काम पर ठप्पा लगाने का आरोप।
बदले बदले से केजरीवाल कभी पुराने अंदाज में रिएक्ट ही नहीं करते दिखें। कहां केजरीवाल सर्जिकल स्ट्राइक पर सबूत मांगने से लेकर देश की आर्थिक स्थिति में सुधार की उम्मीद जताने लगे और निर्मला सीतारमण पर भरोसा जताने लगे थे। अमित शाह के भाषण के बाद भी अरविंद केजरीवाल ने बड़ी ही संजीदगी के साथ एक ट्वीट किया और बोले कि गृह मंत्री ने आप सरकार की कमियां गिनाने की जगह सिर्फ ‘गाली देना’ पसंद किया। जो केजरीवाल प्रधानमंत्री मोदी को कायर और मनोरोगी करार दे चुके हों, वो इस तरह भाजपा नेतृत्व के हमलों पर रिएक्ट करें ये काफी ध्यान देने की बात है। भाजपा नेतृत्व को निश्चित तौर पर ये समझाना होगा कि वो केजरीवाल को हल्के में लेकर बहुत बड़ी गलती कर रही है। बदले हुए केजरीवाल पहले के मुकाबले राजनीतिक तौर पर ज्यादा खतरनाक हो सकते हैं।
अरविंद केजरीवाल और उनकी टीम जिस तरीके से होम वर्क के साथ भाजपा के हमलों का जवाब दे रही है, वो बहुत बड़ा सबक है। अगर भाजपा को ये बात जल्दी नहीं समझ आयी तो हर दांव उल्टा पड़ सकता है। केजरीवाल सरकार पर चुनाव वादे पूरे न करने के आरोपों में वाई-फाई के साथ अमित शाह ने CCTV कैमरे लगाये जाने पर भी सवाल उठाये थे। अमित शाह ने केजरीवाल सरकार से पूछा कि दिल्ली वालों की सुरक्षा के लिए 15 लाख CCTV कैमरा कहां लगे हैं, उनको आज भी दिल्ली की जनता ढूंढ रही है। अमित शाह के इस सवाल का जवाब आप की तरफ से न तो ट्विटर पर देकर रस्म निभा लिया गया और न ही मीडिया में कोई बयान देकर। बल्कि खुद मनीष सिसोदिया ने प्रेस कांफ्रेंस बुला कर सबूत ही पेश कर डाले। सिसोदिया ने कहा कि अमित शाह सवाल कर रहे हैं कि वो सीसीटीवी कहां हैं जिनका हमने वादा किया था। जिसमें उन्होंने अमित शाह के डोर-टु-डोर कैंपेन की वीडियो दिखाई।
भाजपा अध्यक्ष अमित शाह ने बाकी वादों की तरह मोहल्ला क्लिनिक के वादों पर भी सवाल उठाये थे और फिर आम आदमी पार्टी की तरफ से मोहल्ला क्लिनिक की सूची ही ट्विटर पर जारी कर दी गयी। सूची में 150 क्लीनिक के नाम हैं।
भारतीय जनता पार्टी के संकल्प पत्र को लेकर पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष मनोज तिवारी का कहना रहा कि उनकी सरकार आने पर वो बिजली और पानी को लेकर दी जाने वाली सब्सिडी को बंद नहीं करेंगे, बल्कि वो मौजूदा केजरीवाल सरकार से पांच गुना ज्यादा फायदा देंगे। इसके जवाब में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने रीट्वीट करते हुए पांच गुना सब्सिडी के दावे पर मनोज तिवारी को घेर लिया और चैलेंज किया कि बीजेपी अपने शासन वाली किसी भी राज्य सरकार से लागू करा कर दिखा दे।