
कोरोना वायरस से सिर्फ एक दो देशों में नहीं बल्कि पूरे विश्व में इसका बुरा प्रभाव हो रहा है और बहुत ही आक्रामक रूप से लोगों की जिंदगी तबाह कर रहा है। भारत में भी हर दिन ये विशाल रूप ले रहा है। लेकिन क्या आप जानते हैं कि हम सिर्फ कोरोना वायरस से ही नहीं लड़ रहे हैं। एक वायरस और है जिससे हम ग्रस्त है। कोरोना वायरस के प्रकोप के साथ ही हम लगातार उससे भी लड़ रहे हैं। वो वायरस आज नहीं जन्मा है, बल्कि सदियों से हमें घेरे हुए हैं। और यकीन मानिए कि ये कोरोना से भी खतरनाक है। ये हमारी मानसिकता का है और वक्त वक्त पर इस मानसिकता का शिकार कोई न कोई होता रहता है।
कभी इस मानसिकता नाम के वायरस के शिकार में हिंदू-मुसलमान के दंगें होते हैं, या फिर दलितों के साथ उत्पीड़न होता है। इस मानसिकता ने हमारे देश की आधी आबादी को भी नहीं छोड़ा है, जी हां महिलाएं। आपने सोचा है कि महिलाओं के साथ इतने अपराध क्यों होते हैं, क्योंकि हम भारतवासियों की मानसिकता ही खराब है। उसमें कोरोना से भी खतरनाक वायरस लगा हुआ है। लॉकडाउन में भी 10 लोगों ने एक लड़की का रेप कर दिया है। ये मानसिकता वायरस ने अभी एक नया शिकार खोज निकाला है। जो कई दिनों से इसके हत्थे चढ़ा हुआ है। वो है नस्ली हमला और इस बार शिकार हो रहे हैं नॉर्थ ईस्ट के लोग। क्योंकि इस वायरस ने हमारे दिमाग में ये डाल दिया है कि कोरोना वायरस फैलने के पीछे नॉर्थ ईस्ट के लोग जिम्मेदार है। यहां तक की इन नॉर्थ ईस्ट के भारतीय को कोरोना वायरस बुलाया जा रहा है।
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मणिपुर की एक लड़की को सुपरमार्केट में एक महिला ने अपशब्द बोल दिए और सब खड़े हो कर देखते रहे। एक लड़की को ऐसा एहसास कराने की कोशिश की गई की कोरोना वायरस उसी की वजह से भारत में फैला है। ऐसा इसलिए किया गया क्योंकि उसकी शक्ल चीन के लोगों से मिलती-जुलती थी। क्योंकि उसकी आंखें छोटी है और वो चीन के लोगों की तरह दिखती है। ऐसा ही कुछ दिल्ली के पंडारा रोड में एक रेस्टोरेंट में एक लड़की के साथ भी हुआ था। जब उस लड़की को रेस्टोरेंट से ही बाहर निकाल दिया गया, क्योंकि वो लड़की नॉर्थ ईस्ट से थी और चीनी लोगों की तरह लगती थी। ऐसे में बाकी लोगों को उस लड़की के रेस्टोरेंट में होने से परेशानी थी। लोगों को संदेह था कि कोरोनावायरस इसकी वजह से ही आया। वैसे वो लड़की शिलॉन्ग की रहने वाली थी।
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एक और घटना में मणिपुर की एक लड़की की दिल्ली के विजय नगर में वहां के लोगों से बहस हो गई। यहां तक की उस लड़की को कोरोना वायरस भी बुलाया गया। इस तरह के नस्ली हमले के बाद गिल्टी फेम एक्टर तेनजिंग दलहा ने इस तरह की सोच वालों के लिए कुछ कहा है। उन्होंने कहा कि मुझे कोरोनावायरस बुलाया गया, सिर्फ इसलिए कि हम थोड़े अलग दिखते हैं। इसका मतलब ये नहीं है कि कोरोनावायरस सिर्फ हमें ही निशाना बनाएगा या हम ही इसे फैलाते हैं। इसका कोई वैज्ञानिक आधार नहीं है और इससे कोई भी संक्रमित हो सकता है। वायरस भेदभाव नहीं करता है।
तेनजिंग ने वैसे तो सही कहा कि ये वायरस भेदभाव नहीं करता है। लेकिन हमारे दिमाग में जो वायरस बैठा है और जो हमारी मानसिकता को खराब कर रहा है वो तो भेदभाव करना ही सिखाता है। हालांकि दिल्ली की घटना के बाद गृह मंत्रालय ने सभी राज्यों को निर्देश दिया है कि नॉर्थ-ईस्ट के लोगों पर नस्ली हमला करने वाले लोगों पर उचित कार्रवाई की जाए। लेकिन इतना कह देने भर से कुछ नहीं होगा, ये हमारी सोच है जो हमें ये सब करने में मजबूर करती है। नॉर्थ ईस्ट के लोगों को देख कर मोमो, चिनकी कहना तो आम सा हो गया था, अब कोरोना नया आया है।